घुसपैठियों को बसाने वालों को बख्शने पर सतना डीएम को लोकायुक्त ने तलब किया

भोपाल,13 जनवरी(प्रेस इंफार्मेशन सेंटर)। सतना जिले की नयागांव ग्राम पंचायत में बंग्लादेशी घुसपैठियों को इंदिरा आवास देकर बसाने वाले अफसर पर कार्रवाई न किए जाने से लोकायुक्त जस्टिस एन के गुप्त खासे नाराज हैं। पिछले ढाई सालों से आरोपी सीईओ पर कार्रवाई न किए जाने पर लोकायुक्त ने सतना कलेक्टर और एसपी को अपने सम्मुख हाजिर होने के निर्देश दिए हैं।

सतना कलेक्टर अनुराग वर्मा और एसपी धर्मवीर सिंह यादव को लोकायुक्त कार्यालय में 11 फरवरी को जांच प्रकरण 5032016 के संबंध में हाजिर होने के निर्देश दिए गए हैं। शिकायत प्राप्त होने पर ये प्रारंभिक जांच राजीव गांधी जल ग्रहण क्षेत्र प्रबंधन मिशन भोपाल के अतिरिक्त संचालक से कराई गई थी। जांच प्रतिवेदन में सतना जिलेके मझगंवा विकासखंड की वीरसिंह पुर तहसील के अंतर्गत नयागांव ग्रामपंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी संदीप शर्मा को दोषी पाया गया है। आरोप है कि श्री शर्मा ने इंदिरा आवास योजना के अंतर्गत हितग्राही अब्दुल कय्यूम, इरफान खान, मेहरून खान, सलीम खान,श्रीमती पुरवहिया खान,और रुबाब खान को वर्ष 2013-14 में आवास स्वीकृत किए थे और पहली किस्त के रूप में 35000 रुपए की राशि भी दे दी थी।

शिकायत मिलने पर पाया गया कि ये सभी हितग्राही बंग्लादेशी हैं और अवैध रूपसे घुसपैठिए बनकर यहां रह रहे हैं। अतिरिक्त संचालक के जांच प्रतिवेदन के आधार पर लोकायुक्त कार्यालय ने लगभग ढाईसाल पहले सतना कलेक्टर से पूछा था कि इस संबंध में वे वस्तुस्थिति से अवगत कराएं। इसके बावजूद सतना कलेक्टर ने न तो कोई कार्रवाई की न ही संगठन को वस्तुस्थिति से अवगत कराया। इससे नाराज लोकायुक्त ने कलेक्टर और एसपी दोनों को 11 फरवरी को हाजिर होने के निर्देश दिए हैं।

सूत्रों का कहना है कि सतना में कांग्रेस के विधायक सिद्धार्थ कुशवाहा  और चित्रकूट के कांग्रेसी विधायक नीलांशु चतुर्वेदी के संरक्षण की वजह से ये कार्रवाई नहीं हो पा रही है। वे अपने क्षेत्र में इसी तरह के घुसपैठियों को बसाकर वोट बैंक बढ़ा रहे हैं। घुसपैठियों के कारण विंध्य क्षेत्र के हालात पश्चिम बंगाल की तरह विस्फोटक बनते जा रहे हैं।

जन न्याय दल के प्रदेश प्रवक्ता आलोक सिंघई ने आरोप लगाया है कि  मैहर के विधायक नारायण त्रिपाठी और अन्य कांग्रेसी नेता लंबे समय से विंध्य प्रांत की मांग उठाकर सरकार पर दबाव बना रहे हैं। इस वोट बैंक की राजनीति की आड़ लेकर वे सरकारी नौकरियां बेचने का कारोबार करते हैं और सरकारी बजट छीनने का षड़यंत्र भी रचते हैं। अवैध घुसपैठियों की वजह से देश की सुरक्षा पर खतरा तो बढ़ ही रहा है साथमें आम नागरिकों के टैक्स से प्राप्त संसाधनों का भी दुरुपयोग हो रहा है।

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